Dekha Jo Aa'inah To Mujhe Sochna Pada
Khud Se Na Mil Saka To Mujhe Sochna Pada
Uska Jo Khat Mila To Mujhe Sochna Pada
Apna Sa Wo Laga To Mujhe Sochna Pada
Mujhko Tha Gumaan Ke Muhhi-mein Hai Ek Wana
Dekha Teri Anaa To Mujhe Sochna Pada
Duniya Samajh Rahee Thee Ke Naraaz Mujhse Hai
Lekin Wo Jab Mila To Mujhe Sochna Pada
Ik Din Wo Mere Aib Ginaane Laga Karaar
Jab Khud Hi Thak Gaya To Mujhe Sochna Pada
Album: Hope
Singers: Jagjit Singh, Chitra Singh
Lyricist: Faragh Roohvi
देखा जो आईना तो मुझे सोचना पड़ा;
ख़ुद से न मिल सका तो मुझे सोचना पड़ा!
उस का जो ख़त मिला तो मुझे सोचना पड़ा;
अपना सा वो लगा तो मुझे सोचना पड़ा!
मुझ को था ये गुमाँ के मुझी में है इक अना;
देखी तेरी अना तो मुझे सोचना पड़ा!
अना - आत्मसम्मान
दुनिया समझ रही थी के नाराज़ मुझसे है;
लेकिन वो जब मिला तो मुझे सोचना पड़ा!
सर को छुपाऊँ अपने कि पैरों को ढाँप लूँ;
छोटी सी थी रिदा तो मुझे सोचना पड़ा!
रिदा - घूँघट
इक दिन वो मेरे ऐब गिनाने लगा ‘फ़राग़’;
जब ख़ुद ही थक गया तो मुझे सोचना पड़ा!
एल्बम: होप
गायक: जगजीत सिंह, चित्रा सिंह
शायर: फ़राग रोहवी
Watch/Listen on youtube: Pictorial Presentation
कोई टिप्पणी नहीं:
एक टिप्पणी भेजें